क्राइम
विदेश में नौकरी दिलाने के नाम पर 1200 से अधिक लोगों से ठगी करने वाले 11 आरोपी नोएडा में गिरफ्तार
विदेशों में नौकरी दिलवाने के नाम पर 1200 से अधिक बेरोजगार युवक युवतियों से
ठगी करने वाले एक गिरोह का नोएडा कमिश्नरेट पुलिस (Noida Commissionerate Police) ने खुलासा किया है। पुलिस की टीम ने इस गिरोह के मास्टरमाइंड समेत 11 आरोपियों को दबोच लिया है। ये आरोपी नोएडा में Call Center खोलकर देश के कई राज्यों के लोगों से ठगी कर रहे थे। पुलिस ने आरोपियोंं के पास से 755 नियुक्ति पत्र, 140 पासपोर्ट, कंप्यूटर, लैपटॉप समेत अन्य सामान बरामद किया है।
ALSO READ: Join the Movement: Future Crime Research Foundation Launches State Chapters to Build a Cyber-Safe India
CLICK THIS LINK TO BECOME DOMAIN LEAD
Call Center खोलकर और ऑनलाइन विज्ञापन देकर कर रहे थे ठगी
ACP प्रवीण सिंह की टीम ने नोएडा के अर्बटेक ट्रेड सेंटर स्थित इको इंटरप्राइजेज नामक एक कंपनी के दफ्तर में दबिश दी। तब पता चला कि यहां नौकरी दिलाने के नाम पर कॉल सेंटर चल रहा है। पुलिस की टीम ने यहां से 11 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया। ये आरोपी सोशल नेटवर्किंग साइट (Social Networking Sites) फेसबुक, इंस्टाग्राम, टेलीग्राम से लेकर अन्य माध्यम पर विज्ञापन डालते थे। इसमें विदेश खास तौर खाड़ी देशों (Gulf Countries) में नौकरी के लिए विज्ञापन होता था। इसमें आकर्षक सैलरी से लेकर कई तरह की सुविधाओं का जिक्र होता था। इन विज्ञापन को देखकर जब सोशल साइट पर बेरोजगार युवक संपर्क करते थे तब यहां से जालसाज इनलोगों से संपर्क करते थे।
इसके बाद उन्हें नोएडा बुलाकर हवाई यात्रा का खर्चा, वीजा का खर्चा व नौकरी दिलवाने का कमीशन के नाम पर उनसे पैसे ले लेते थे। दस्तावेज के नाम पर उनके मूल पासपोर्ट(Original Passport) अन्य दस्तावेज व फोटो ले लिया जाता था। इसके बाद एक तय दिन पर सैकड़ों लोगों को विदेश भेजने के नाम पर Delhi Airport पर बुलाया जाता था। जब सैकड़ों लोग एयरपोर्ट पहुंचते तब ठगी का
पता चलता था। जब ठगी के शिकार लोग आरोपियों के दफ्तर पहुंचते थे तब तक ये आरोपी वहां से दफ्तर खाली कर भाग जाते थे।
गैंगस्टर एक्ट के तहत होगी कार्रवाई
ADCP मनीष कुमार मिश्र का कहना है कि आरोपियों के खिलाफ Gangster Act के तहत कार्रवाई की जाएगी। पुलिस ने आरोपियों का एक बैंक खाता सीज भी किया है। इसके अलावा इनके मोबाइल व सोशल साइट की जांच भी की जा रही है। इसके साथ ही इस गिरोह से जुड़े
कई आरोपियों की पहचान की जा रही है। यह भी पता लगाया जा रहा है कि सेक्टर-132 से पहले पिछले चार सालों में किन किन शहरों में दफ्तर खोलकर ठगी की है।
फर्जी नाम से युवकों से करते थे संपर्क
पुलिस की जांच में पता चला है कि ये आरोपी फर्जी नाम से बेरोजगार युवक युवतियों से संपर्क करते थे। इनका संगठित गिरोह था। सरगना समीर अपना फर्जी नाम एस. खन्ना, किशोर प्रसाद अपना फर्जी नाम अमित, मुस्ताक खान अपना फर्जी नाम जेम्स रखा हुआ था। वहीं
गिरफ्तार महिला नजराना एजेंट के रूप में काम करती थी। वह ग्राहकों से बातचीत कर उन्हें झांसे में लेती थी ।