क्राइम
उत्तर प्रदेश : साइबर ठगों को सिमकार्ड सप्लाई करने वाले गैंग का भंड़ाफोड़, सात गिरफ्तार
उत्तर प्रदेश के एटा में पुलिस और इंटेलीजेंस विंग ने साइबर ठगों को सिम कार्ड सप्लाई करने वाले गिरोह का भंडाफोड़ किया। गिरोह फर्जी आधार कार्ड से सिम लेकर उन्हें तीन हजार रुपये (प्रति सिम) में राजस्थान सप्लाई करता था। पुलिस ने गिरोह के सात सदस्यों को गिरफ्तार किया है। इनमें एक मैनपुरी व तीन राजस्थान के रहने वाले हैं। ठगों के पास से दर्जनों सिम, फर्जी आधार कार्ड, मोबाइल फोन व 20 हजार की नकदी भी बरामद की गई है।
एटा के विपिन कुमार व रामकुमार, मैनपुरी के केंद्र सिंह, भरतपुर (राजस्थान) के जुरैहरा थाना क्षेत्र के ग्राम बहादुरपुर निवासी सलमान उर्फ अजरुद्दीन, उगनान और जुरेहरू निवासी खालिद को गिरफ्तार किया है। आरोपितों के कब्जे से वीआइ कंपनी की 71 सिम, 29 फर्जी आधार कार्ड, पैन कार्ड तथा सात मोबाइल फोन, 20 हजार रुपये बरामद किए गए हैं।
एएसपी धनंजय सिंह कुशवाह ने बताया कि गैंग का सरगना विपिन है। यह आधार और पैन कार्ड को दूसरे व्यक्ति का फोटो लगाकर स्कैन करते थे। फिर उसकी फोटो कापी कर सिम कार्ड लेते थे। इसके बाद सिम को राजस्थान के जयपुर व अन्य राज्यों के साइबर ठगों को सप्लाई करते थे। एक सिम की कीमत तीन हजार रुपये निर्धारित की थी। गैंग अब तक 600 से अधिक सिमकार्ड की बिक्री कर चुका है।
तीन हजार में दी जाती थी एक सिम
गिरोह का सरगना विपिन फोटो स्टेट की दुकान संचालक है। वह ही फर्जी आधार कार्ड तैयार करता था। पूछताछ के दौरान उसने पुलिस को बताया कि ठग सिमकार्ड का काल करने में इस्तेमाल करते थे। फेसबुक, ओएलएक्स, धनी वन एप आदि साइटों के जरिए ग्राहकों को फंसाकर उनसे ठगी करते थे।
ऐसे सामने आया मामला
कोतवाली नगर के इंस्पेक्टर देवेंद्रनाथ मिश्रा ने बताया कि कोतवाली देहात के ग्राम चिलासनी निवासी श्यामबाबू व रघुराज ¨सह ने धोखाधड़ी कर फर्जी आधार कार्ड बनाकर सिम कार्ड निकालने के मामले दर्ज कराए थे। पीडि़तों का कहना था कि 50 लोगों के फर्जी आधार कार्ड तैयार किए गए हैं।
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